उत्तर प्रदेश में बिजली उपभोक्ताओं के अधिकारों का उल्लंघन, सिर्फ प्रीपेड मीटर की मजबूरी
- by Priyanka Tiwari
- 2025-10-24 03:09:00
India News Live,Digital Desk : राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु को पत्र लिखकर यह मुद्दा उठाया है कि उत्तर प्रदेश में बिजली उपभोक्ताओं को स्मार्ट मीटर के लिए प्रीपेड या पोस्टपेड विकल्प चुनने की सुविधा नहीं दी जा रही है।
अध्यक्ष अवधेश वर्मा ने अपने पत्र में लिखा है कि यह उत्तर प्रदेश में विद्युत अधिनियम-2003 की धारा 47(5) का सीधा उल्लंघन है। यह कानून स्पष्ट रूप से कहता है कि हर उपभोक्ता को प्रीपेड या पोस्टपेड मीटर में से किसी एक को चुनने का अधिकार है।
वर्मा ने पत्र की प्रति केंद्रीय ऊर्जा मंत्री मनोहर लाल खट्टर और केंद्रीय ऊर्जा सचिव को भी भेजी है। उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश पावर कारपोरेशन और अन्य विद्युत वितरण कंपनियां इस कानूनी अधिकार की अनदेखी कर रही हैं।
वर्तमान में उपभोक्ताओं को केवल प्रीपेड मीटर लगवाने के लिए बाध्य किया जा रहा है और मीटर की कीमत वसूली जा रही है, जबकि नियामक आयोग की अनुमति नहीं ली गई है।
राज्य विद्युत परिषद ने मांग की है कि पावर कारपोरेशन और विद्युत वितरण कंपनियों के कामकाज की उच्च स्तरीय जांच कराई जाए। साथ ही राज्य सरकार और विद्युत नियामक आयोग को निर्देशित किया जाए कि वे अधिनियम का अनुपालन सुनिश्चित करें। जब तक आयोग की स्वीकृति नहीं मिलती, तब तक किसी भी तरह की शुल्क वसूली पर रोक लगाई जाए।