शर्मिष्ठा पनोली की गिरफ्तारी पर देशभर में उठा बवाल, सोशल मीडिया से सियासत तक मचा घमासान

India News Live,Digital Desk : पुणे की 22 साल की लॉ स्टूडेंट और सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर शर्मिष्ठा पनोली की गिरफ्तारी के बाद देशभर में राजनीतिक माहौल गर्म हो गया है। कोलकाता पुलिस ने उन्हें ऑपरेशन सिंदूर से जुड़े एक वीडियो में कथित आपत्तिजनक टिप्पणी के आरोप में गुरुग्राम से गिरफ्तार किया।
हालांकि अब यह मामला एकतरफा नहीं रह गया है। जिस व्यक्ति ने शर्मिष्ठा के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई थी — वजाहत खान कादरी रशीदी — अब खुद भी विवादों में घिरते नजर आ रहे हैं। उन पर हिंदू देवी-देवताओं के खिलाफ अपमानजनक और भड़काऊ पोस्ट करने के आरोप लगाए जा रहे हैं।
Reference to unacceptable comments made by an individual against Devi Maa Kamakhya, a case has been registered by @assampolice and we will seek West Bengal Govt's cooperation in bringing the individual to Assam to face the law. pic.twitter.com/0jpyhLHmCL
— Himanta Biswa Sarma (@himantabiswa) June 2, 2025
इस पर असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने बयान दिया है कि वजाहत के खिलाफ केस दर्ज किया जा चुका है और असम पुलिस की एक टीम उन्हें गिरफ्तार करने बंगाल भेजी गई है। असम सरकार ने इसके लिए बंगाल सरकार से भी सहयोग मांगा है।
इस पूरे घटनाक्रम पर बीजेपी और अन्य विपक्षी दलों ने पश्चिम बंगाल की टीएमसी सरकार पर सवाल खड़े किए हैं। आंध्र प्रदेश के डिप्टी सीएम और जनसेना प्रमुख पवन कल्याण ने कहा कि यह मामला केवल कानून का नहीं, बल्कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता से भी जुड़ा है। वहीं बीजेपी सांसद कंगना रनौत ने कहा कि जब शर्मिष्ठा ने अपनी गलती मान ली और पोस्ट हटा भी दिया, तो उसे इस तरह परेशान करना गलत है। उन्होंने राज्य सरकार से अपील की कि बंगाल को 'नॉर्थ कोरिया' ना बनने दें, बल्कि लोगों के संवैधानिक अधिकारों की रक्षा करें।
इस बीच बार काउंसिल ऑफ इंडिया ने शर्मिष्ठा की तुरंत रिहाई की मांग की है। बीसीआई अध्यक्ष मनन कुमार मिश्रा ने निष्पक्ष सुनवाई और त्वरित रिहाई की अपील की है।
ये मामला अब सिर्फ एक गिरफ्तारी नहीं, बल्कि कानून, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता, धार्मिक भावनाएं और राजनीति के बीच एक बड़ा टकराव बन चुका है।