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Success Story : सड़को पर चाकू-छुरी बेच रोज 20-40 रुपये कमाने वाली के पास आज है BMW, ऐसे बन गई करोड़ो की कंपनी की मालकिन

Success Story : सड़को पर चाकू-छुरी बेच रोज 20-40 रुपये कमाने वाली के पास आज है BMW, ऐसे बन गई करोड़ो की कंपनी की मालकिन

HR Breaking News, Digital Desk- सफलता एक ऐसी चीज है जो कि व्यक्ति को वो कर गुजरने पर मजबूर कर देती हे जो कि शायद किसी समय में आपको नामूमकिन भी लगे। कौन कह सकता है कि एक चाकू छूरी बेचने वाली लड़की भी कभी BMW कार में घूम पाएगी।  चीनू काला आज सफल बिजनेसवुमन (business women hinu kala) हैं। उनकी कहानी संघर्ष और हौसले का जीता-जागता उदाहरण है। सिर्फ 15 साल की उम्र में मुश्किलों का सामना करते हुए उन्‍होंने 300 रुपये और कुछ कपड़ों के साथ अपना घर छोड़ दिया था। कई रात चीनू स्टेशन पर सोईं। लेकिन, कभी अपने सपनों को मरने नहीं दिया। जो चीनू कभी घर-घर चाकू-छुरी बेच रोज के 20-40 रुपये कमाती थीं, आज वह रुबंस एक्सेसरीज की मालकिन (success story) हैं। यह कंपनी करोड़ों की है। आइए, यहां चीनू की सफलता के बारे में जानते हैं।

घर-घर जाकर बेची चाकू-छुरी

अगर शुरूआत की बात करें तो चीनू की यात्रा (chinu kala journy) तब शुरू हुई जब उन्होंने सिर्फ 15 साल की उम्र में कक्षा 10 की पढ़ाई के दौरान घर छोड़ दिया। सिर्फ 300 रुपये और कपड़ों के एक बैग के साथ निकलीं चीनू कई बार स्टेशन पर सो जाया करती थीं। पारिवारिक समस्याओं के बावजूद उन्‍होंने अपना रास्ता बनाने की ठान रखी थी। चीनू ने कमाई के लिए छोटी शुरुआत की। घर-घर जाकर चाकू-छुरी और कोस्टर बेचे। इससे उनकी रोज की 20-40 रुपये की कमाई हो जाती थी। लेकिन, हार नहीं मानी। उनकी मेहनत रंग लाई। 2014 में उन्होंने बेंगलुरु के एक छोटे से मॉल में ‘रुबंस एक्सेसरीज’ की शुरुआत (Launch of ‘Rubans Accessories’) की।

आज करोड़ों में कमा रही है रुबंस

चीनू काला (chinu success story) की कड़ी मेहनत और परिश्रम के कारण रुबंस एक्सेसरीज ने सफलता की नई ऊंचाइयां छू लीं। आज रुबंस 40 करोड़ रुपये का कारोबार करती है। यह 10 लाख से ज्‍यादा एक्सेसरीज बेच चुकी है।

BMW 5 सीरीज कार की बनी मालकिन

इतनी सफलता हासिल करने के बावजूद चीनू (chinu kala story) आज भी जमीन से जुड़ी हुई हैं। वह अपने पति और बेटी के साथ बेंगलुरु में एक आलीशान घर में रहती हैं। BMW 5 सीरीज कार चलाने के बावजूद वह आज भी 15-15 घंटे काम करती हैं। अपनी कंपनी रुबंस को और आगे ले जाने के लिए समर्पित हैं।

सेट किए ऊंचे टारगेट 

बता दें कि अब चीनू का सपना है कि साल के अंत तक रुबंस भारतीय फैशन ज्वेलरी (Rubans Indian Fashion Jewelery) मार्केट में 25% हिस्सेदारी हासिल कर ले। उनका लक्ष्य महत्वाकांक्षी है, लेकिन उनकी कहानी साबित करती है कि दृढ़ संकल्प और अटूट हौसले से कुछ भी हासिल किया जा सकता है।

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