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जिस टिकटॉक पर भारत ने 5 साल पहले लिया था एक्शन, अब उससे कैसे मर रहे यूक्रेनी सैनिक

जिस टिकटॉक पर भारत ने 5 साल पहले लिया था एक्शन, अब उससे कैसे मर रहे यूक्रेनी सैनिक

टिकटॉक की वजह से मर रहे यूक्रेनी सैनिक

चीनी कंपनी टिकटॉक की साजिश को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है. कहा जा रहा है कि यूक्रेन में जो सैनिक मर रहे हैं, उसमें टिकटॉक की बड़ी भूमिका है. दरअसल, यूक्रेन ने चीन के 2 सैनिकों को गिरफ्तार किया था, जिससे पूछताछ में पता चला कि टिकटॉक के जरिए ही पुतिन की सेना दूसरे देशों के लोगों को अपने यहां बुला रही है.

बिजनेस इनसाइडर के मुताबिक चीन के पकड़े गए 2 नागरिकों का कहना है कि हमारे देश में टिकटॉक पर रूसी सेना में भर्ती होने को लेकर एक बड़ा अभियान चलाया जा रहा है. इस अभियान के तहत लोगों से रूस की सेना में भर्ती होने के लिए कहा जा रहा है.

सिर्फ चीन में टिकटॉक के 80 करोड़ यूजर्स

स्टेटिस्टा के मुताबिक चीन में टिकटॉक के करीब 80 करोड़ यूजर्स हैं. पूरी दुनिया में करीब 160 करोड़ इसके यूजर्स हैं. टिकटॉक पर भारत ने साल 2020 में बैन लगाया था. भारत ने प्राइवेसी का हवाला देकर चीन की इस कंपनी पर बैन लगाया था.

टिकटॉक एक सोशल मीडिया ऐप है, जहां पर विजुअल और कंटेंट के जरिए लोग एक दूसरे से जुड़े रहते हैं. 2016 में चीन में इसकी स्थापना की गई थी. इसकी पैरेंट कंपनी बाइटडांस के मुताबिक टिकटॉक 40 भाषाओं में उपलब्ध है.

टिकटॉक की वजह से कैसे मर रहे सैनिक?

टिकटॉक की वजह से उत्तर कोरिया, चीन और ईरान के लोग रूस की सेना में भर्ती हो रहे हैं. पिछले 3 साल से जंग की वजह से रूस की सेना पस्त पड़ गई थी, लेकिन इन देशों से लोग आने के बाद फिर आक्रामक हो गई है. पिछले 2 दिनों में ही रूस ने यूक्रेन के 50 से ज्याद लोग मार दिए हैं.

यूक्रेन के सैनिक भी लगातार मर रहे हैं. यूक्रेन का कहना है कि जंग में चीन के 150 से ज्यादा लोग रूस की तरफ से लड़ रहे हैं. वहीं उत्तर कोरिया के भी करीब 10 हजार लोग पुतिन की सेना में शामिल हैं.

जंग में कीव को छोड़कर यूक्रेन का अधिकांश हिस्सा तबाह हो गया है. पुतिन की सेना ने यूक्रेन को बर्बाद करने के लिए अपने सभी घोड़े एक साथ खोल रखे हैं.

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