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ऑपरेशन ब्रह्मा के तहत भारत ने म्यांमार को भेजी बड़ी राहत, INS घड़ियाल पहुंचा रंगून

हाल ही म्यांमार में आए भूकंप ने भयानक तबाही मचाई है. जिसमें लगभग 3500 लोग मारे गए हैं. पहले संकट में घिरे म्यांमार में 7.7 तीव्रता के भूकंप आने के हालात और बिगड़, जिसके बाद एक अच्छे पड़ोसी की जिम्मेदारी निभाते हुए भारत ने 28 मार्च को ऑपरेशन ब्रह्मा के तहत तेजी से राहत और बचाव अभियान शुरू किया है.

भारत ने म्यांमार में आई आपदा के बाद मदद के लिए बड़ा कदम उठाया है. भारतीय नौसेना का जहाज INS घड़ियाल शनिवार सुबह रंगून पहुंचा. यह जहाज 442 टन राहत सामग्री लेकर गया है, जिसमें 405 टन चावल शामिल है. यह राहत सामग्री भारत के राजदूत अभय ठाकुर ने रंगून क्षेत्र के मुख्यमंत्री यू सो थेइन को सौंपी. यह मदद उन लोगों के लिए भेजी गई है जो हाल ही में म्यांमार में आई प्राकृतिक आपदा से प्रभावित हुए हैं.

पहला मददगार देश भारत

हिंद महासागर क्षेत्र में भारत को पहला मददगार देश माना जाता है. इस बार भी भारतीय नौसेना ने तेजी से काम करते हुए म्यांमार के लिए अब तक 512 टन से ज्यादा राहत सामग्री भेजी है. जिसके जरिए म्यांमार को इस मुश्किल घड़ी से बाहर आने में मदद मिलेगी.

क्या है ऑपरेशन ब्रह्मा?

‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ भारत का एक खास मिशन है, जिसके तहत ज़रूरत के समय पड़ोसी देशों को खाने-पीने और जरूरी सामान की मदद भेजी जाती है. इसका मकसद है कि मुश्किल समय में कोई अकेला न रहे. INS घड़ियाल की यह यात्रा भारत और म्यांमार के रिश्तों को और मजबूत बनाएगी. खाने-पीने के समान के अलावा भारत ने म्यांमार NDRF की टीम भी बचाव कार्य के लिए भेजी थी. भारत लंबे समय से पड़ोसी देशों की मदद करता आया है, जिसके लिए पूरी दुनिया में भारत की तूती बोल रही है.

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